Navratri Day 3 : 17 October
नवरात्रि के तीसरे दिन माँ चंद्रघंटा की पूजा अर्चना की जाती है। इन्हें माँ पार्वती की सुहागिन स्वरुप माना जाता है। माँ के मस्तक पर घंटे के आकार का चंद्रमा सुशोभित है इसलिए इनका नाम चंद्रघंटा पड़ा। माता चंद्रघंटा बाघ पर विराजमान होती हैं और इनके शरीर का रंग स्वर्ण के समान चमकीला हैं। इनके दस हाथ हैं। इन्हें ज्ञान की देवी भी माना गया है।
माँ चंद्रघंटा उपासना मंत्र :-
पिण्डजप्रवरारूढ़ा चण्डकोपास्त्रकेर्युता।
प्रसादं तनुते मह्यं चंद्रघण्टेति विश्रुता॥
अर्थात :-
देवी का यह स्वरूप परम शांतिदायक और कल्याणकारी है. उनका ध्यान हमारे इस लोक और परलोक दोनों को सद्गति देने वाला है.